गरुड़ पुराण के अनुसार, मृत्यु के बाद आत्माएं 24 घंटे के लिए यमलोक में जाती हैं और फिर धरती पर लौट आती हैं. इस दौरान आत्मा को अपने कर्मों का हिसाब किताब करवाने और अगले जीवन के लिए तैयार होने के लिए भेजा जाता है. 13 दिनों तक चलने वाली इस प्रक्रिया के दौरान आत्मा को ताकत मिलती है और उसे यमलोक की यात्रा करने में मदद मिलती है. गरुड़ पुराण के मुताबिक पिंडदान से आत्मा को एक साल तक की शक्ति मिलती है, जिन आत्माओं का पिंडदान नहीं किया जाता उन्हें यमदूत 13वें दिन जबरदस्ती यमलोक ले जाते हैं.
Garuda Purana: मृत्यु के 24 घंटे बाद क्यों यमलोक से लौट आती है आत्मा , पिंडदान नहीं करने पर क्या होता है हश्र, जानें गरुड़ पुराण में मृत्यु के बारे में कई रहस्य बताए गए हैं. इस पुराण की मानें तो पृथ्वी पर मौत के बाद आत्मा एं यमलोक में जाती हैं और फिर 24 घंटे में लोटकर पृथ्वी पर आ जाती हैं. आइए जानें इस पूरी प्रक्रिया के पीछे का रहस्य क्या है.नसों में भर गया है फैट, हाई कोलेस्ट्रॉल के जीभ पर दिखते हैं ये संकेत- कभी भी हो सकता है हार्ट अटैककौन हैं मनराज जवंदा? जिससे रैपर रफ्तार ने की शादी..
जब किसी व्यक्ति की मृत्यु हो रही होती है तो वो अपने परिवार जन के मोह में होता है. उस वक्त मनुष्य अपने प्राणों के मोह में बहुत अधिक होता है. अपने सगे-संबंन्धियों को देखकर वह संसार को छोड़कर जाने को तैयार नहीं होता है, इसी मोह में रहते हुए उसकी मृत्यु हो जाती है . वहीं जब मनुष्य की आत्मा को शरीर से खींच लिया जाता है तब भी आत्मा मोह में ही होती. हालांकि आत्मा को खींचकर यमदूत कर्मों का हिसाब करने यमलोक यमराज के पास लेकर जाते हैं.
Guru Chandra Yuti 2025: पैसों में डूब जाएंगी ये तीन राशियां, गुरु चंद्र युति से बन रहा शक्तिशाली गजकेसरी राजयोग, कामयाबी कदमों में होगी Garuda Purana: तेरहवीं पर 13 ब्राह्मणों का भोज जरूरी क्यों, मृत्यु के बाद आत्मा के बारे में गरुड़ पुराण क्या कहता हैChennai Newsबम बांधकर आएंगे... पैराशूट से होगा भारत पर हमला? पाकिस्तान में रची जा रही साजिश!srinagar newsआखिर कौन सी 'विदेशी चिंगारी' संसद सत्र को भड़का रही थी? बजट से पहले PM का तीखा वारJP NaddaMahakumbh Stampede
गरुड़ पुराण मृत्यु यमलोक आत्मा पिंडदान संस्कार कर्म पुनर्जन्म
इंडिया ताज़ा खबर, इंडिया मुख्य बातें
Similar News:आप इससे मिलती-जुलती खबरें भी पढ़ सकते हैं जिन्हें हमने अन्य समाचार स्रोतों से एकत्र किया है।
गरुड़ पुराण: आत्मा का निकास, जानें शरीर त्यागने के तरीकेगरुड़ पुराण में बताया गया है कि मृत्यु के समय आत्मा शरीर से किस अंग से निकलती है, इस बारे में जानकारी दी गई है।
और पढो »
मृत्यु के बाद क्यों किया जाता है पिंडदान, जानिए क्या है इसका महत्वपंडित हरिदास पुजारी ने लोकल 18 को मृत्यु संस्कार के बारे में बताया कि सातवें या आठवें दिन इन अस्थियों को गंगा, नर्मदा या अन्य पवित्र नदी में विसर्जित किया जाता है. दसवें दिन घर की सफाई या लिपाई-पुताई की जाती है.
और पढो »
गरुड़ पुराण: संबंध बनाकर महिला को छोड़ने वाले पापी नर्क में पाते हैं भयानक सजागरुड़ पुराण में हर गलत कर्म की सजा नर्क में मिलने के बारे में बताया है. इस पुराण में मृत्यु के बाद की गतिविधियों का ब्यौरा है जैसे मृत्यु के बाद क्या होता है. किन कर्मों का क्या फल मिलता है और किन बुरे कर्मों की क्या सजा दी जाती है. आइए इस सेगमेंट में जानें कि आखिर उन पुरुषों को क्या सजा मिलती है जो संबंध बनाकर महिला को छोड़ देते हैं यानी धोखा देते हैं.
और पढो »
Garud Puran: रहस्यमयी द्वार और यमदूत का आगमन, मृत्यु पास हो तो मिलते हैं ये गहरे संकेत, गरुड़ पुराण क्या कहता हैGarud Puran rules about death: गरुड़ पुराण के मुताबिक मरने वाले को एक घंटे पहले से ही ऐसी 5 चीजें दिखाई देने लगती है जो मृत्यु के आने की निशानी होती है. गरुड़ पुराण के अनुसार मृत्यु आने से पहले व्यक्ति को एक रहस्यमयी द्वार दिखता है. आइए गरुड़ पुराण में बताए गए संकेतों के बारे में जानें.
और पढो »
गरुड़ पुराण: अल्पायु में बच्चों की मौत पर आत्माओं का क्या होता है?गरुड़ पुराण में जन्म-मृत्यु के रहस्यों को उजागर किया गया है. विशेष रूप से बताया गया है कि अल्पायु में बच्चों की मौत होने पर उनकी आत्माओं का क्या होता है. भगवान विष्णु ने गरुड़ देव से बताया कि कम उम्र में बच्चों को अच्छे-बुरे की समझ नहीं होती है, इसलिए उन्हें कर्मों के आधार पर नहीं बल्कि कम आयु को देखते हुए स्वर्ग में प्रवेश दे दिया जाता है.
और पढो »
'मौत के बाद क्या होता है', इंटरनेट पर सर्च करने के बाद किशोरी ने दी जानमहाराष्ट्र के नागपुर से एक हैरान करने वाला मामला सामने आया है. जहां एक 17 वर्षीय किशोरी ने 'मृत्यु के बाद क्या होता है' ऑनलाइन सर्च करने के बाद आत्महत्या कर ली. लड़की के इस कदम से आसपास के लोग भी आहत हैं.
और पढो »