27 साल बाद कुंभ मेले में मिलने वाला प्रियजन, लेकिन क्या वह पहचानेगा?

खबर समाचार

27 साल बाद कुंभ मेले में मिलने वाला प्रियजन, लेकिन क्या वह पहचानेगा?
कुंभ मेलापरिवारलापता
  • 📰 Amar Ujala
  • ⏱ Reading Time:
  • 66 sec. here
  • 8 min. at publisher
  • 📊 Quality Score:
  • News: 47%
  • Publisher: 51%

झारखंड के एक परिवार को प्रयागराज कुंभ मेले में 27 साल बाद उनके खोए हुए परिजन का पता चला है। हालांकि, खोए हुए परिजन अब एक साधु बन गए हैं और अपनी पूर्व पहचान को पहचानने से इनकार कर रहे हैं। परिवार अब डीएनए परीक्षण पर विचार कर रहा है।

प्रयागराज महाकुंभ में एक परिवार 27 साल बाद अपने पिछड़े हुए परिजन से मिला। परिवार ने अब उनके मिलने की उम्मीद ही छोड़ दी थी। उन्हें मान लिया था कि या तो वह इस दुनिया में नहीं है और या फिर वह किसी ऐसे स्थान पर चले गए हैं, जहां से वापस आना संभव नहीं है। हालांकि, दिल की किसी कोने में उनके मिलने की उम्मीद बाकी थी। मामला झारखंड के परिवार का है। परिवार ने बुधवार को दावा किया कि प्रयागराज में कुंभ मेले में उन्हें उनका खोया हुआ एक परिजन मिल गया है। इसके साथ ही उनकी 27 साल से जारी परिजन की तलाश अब समाप्त

हो गई है। खोए हुए परिजन गंगासागर यादव अब 65 वर्ष के हैं। वह ‘अघोरी साधु’ बन गए हैं। अब उनका नाम बाबा राजकुमार है। उनके परिवार ने बताया कि 1998 में पटना की यात्रा के बाद गंगासागर लापता हो गए थे। उनकी पत्नी धनवा देवी ने अपने दो बेटों कमलेश और विमलेश की अकेले परवरिश की। गंगासागर के छोटे भाई मुरली यादव ने कहा, 'हम उन्हें दोबारा देखने की उम्मीद खो चुके थे, लेकिन कुंभ मेले में गए हमारे एक रिश्तेदार ने गंगासागर जैसे दिखने वाले एक व्यक्ति की तस्वीर ली और हमें भेजी। इसके बाद मैं, धनवा देवी और उनके दो बेटों के साथ कुंभ मेला पहुंचा।' मेले में पहुंचने पर परिवार का सामना बाबा राजकुमार से हुआ, लेकिन उन्होंने गंगासागर यादव के रूप में अपनी पूर्व पहचान स्वीकार करने से इनकार कर दिया। बाबा राजकुमार ने वाराणसी का साधु होने का दावा किया। उन्होंने और उनकी साध्वी साथी ने पूर्व के किसी भी संबंध से इनकार किया। हालांकि, परिवार अपने दावे पर अड़ा रहा, क्योंकि बाबा राजकुमार पूरी तरह से गंगासागर यादव से मिलते जुलते हैं, यहां तक कि उनके माथे और घुटने पर चोट के हूबहू वैसे ही निशान मिले जो गंगासागर यादव के थे। मुरली यादव ने कहा कि हम कुंभ मेले के अंत तक इंतजार करेंगे। अगर जरूरी हुआ तो डीएनए परीक्षण पर जोर देंगे। यदि परीक्षण में परिणाम मेल नहीं खाते तो हम बाबा राजकुमार से माफी मांगेंगे। इस बीच परिवार के कुछ सदस्य घर लौट आए हैं, जबकि अन्य अभी मेले में ही हैं। हम बाबा राजकुमार और साध्वी पर कड़ी नजर रख रहे हैं

हमने इस समाचार को संक्षेप में प्रस्तुत किया है ताकि आप इसे तुरंत पढ़ सकें। यदि आप समाचार में रुचि रखते हैं, तो आप पूरा पाठ यहां पढ़ सकते हैं। और पढो:

Amar Ujala /  🏆 12. in İN

कुंभ मेला परिवार लापता साधु डीएनए परीक्षण

इंडिया ताज़ा खबर, इंडिया मुख्य बातें

Similar News:आप इससे मिलती-जुलती खबरें भी पढ़ सकते हैं जिन्हें हमने अन्य समाचार स्रोतों से एकत्र किया है।

झारखंड परिवार ने कुंभ मेले में 27 साल बाद अपने खोए हुए सदस्य को ढूंढा?झारखंड परिवार ने कुंभ मेले में 27 साल बाद अपने खोए हुए सदस्य को ढूंढा?झारखंड के एक परिवार ने प्रयागराज में कुंभ मेले में 27 साल बाद अपने खोए हुए सदस्य को खोज निकालने का दावा किया है. परिवार के अनुसार, 1998 में लापता हुए गंगासागर यादव अब 'अघोरी' साधु बाबा राजकुमार के रूप में जाने जाते हैं. परिवार ने साधु के शरीर पर मौजूद कुछ विशेष पहचान चिह्नों को आधार बनाकर दावा किया कि वह ही गंगासागर हैं. लेकिन साधु ने अपनी पुरानी पहचान को पूरी तरह से नकार दिया है.
और पढो »

27 साल बाद कुंभ मेले में परिवार को मिला खोया हुआ परिजन27 साल बाद कुंभ मेले में परिवार को मिला खोया हुआ परिजनझारखंड के एक परिवार को प्रयागराज कुंभ मेले में अपने 27 साल पहले लापता हुए परिजन को ढूंढा। लापता व्यक्ति बाबा राजकुमार के रूप में साधु बन चुका है और अपनी पूर्व पहचान को पहचान से इनकार कर रहा है।
और पढो »

27 साल बाद कुंभ मेले में मिला खोया हुआ परिजन27 साल बाद कुंभ मेले में मिला खोया हुआ परिजनझारखंड के एक परिवार को प्रयागराज कुंभ मेले में अपने 27 साल बाद अपने लापता परिजन से मिला। 1998 में पटना यात्रा के बाद गंगासागर यादव लापता हो गए थे। अब वह 'अघोरी साधु' बाबा राजकुमार के रूप में 65 वर्ष के हो चुके हैं।
और पढो »

27 साल बाद प्रयागराज महाकुंभ में मिला खोया हुआ परिजन27 साल बाद प्रयागराज महाकुंभ में मिला खोया हुआ परिजनझारखंड के एक परिवार ने प्रयागराज में कुंभ मेले में अपने खोए हुए परिजन को 27 साल बाद ढूंढ लिया। गंगासागर यादव, अब बाबा राजकुमार के नाम से जाने जाते हैं, 1998 में पटना की यात्रा के बाद लापता हो गए थे। परिवार ने उनके मिलने की उम्मीद खो दी थी, लेकिन कुंभ मेले में एक रिश्तेदार के द्वारा भेजी गई एक तस्वीर के कारण उन्हें बाबा राजकुमार से मिला। हालाँकि, बाबा राजकुमार ने अपनी पहचान स्वीकार करने से इनकार कर दिया है।
और पढो »

महाकुंभ 2025: जानिए महाकुंभ, पूर्ण कुंभ, अर्ध कुंभ और कुंभ में क्या अंतर हैमहाकुंभ 2025: जानिए महाकुंभ, पूर्ण कुंभ, अर्ध कुंभ और कुंभ में क्या अंतर हैमहाकुंभ 2025: प्रयागराज में जल्द ही शुरू होगा महाकुंभ, जानिए कुंभ मेले के बारे में
और पढो »

कुंभ मेले में रहस्यमयी नागा साधुकुंभ मेले में रहस्यमयी नागा साधुकुंभ मेले में नागा साधुओं की लोकप्रियता और उनका आध्यात्मिक महत्व.
और पढो »



Render Time: 2025-02-15 11:41:13